पटना 25 नवंबर 2023
आज पटना के ललित कला अकादमी, में कला संस्कृति एवं युवा विभाग, बिहार के सौजन्य से क्राफ्टवाला संस्था के द्वारा 6 दिवसीय मधुबनी पेंटिंग की प्रदर्शनी“ मेरी आवाज़ सुनो” की शुरुआत की गई । कार्यक्रम का उद्घाटन अपर मुख्य सचिव, कला, संस्कृति एवं युवा विभाग बिहार, श्रीमती हरजोत कौर बम्हरा, मिथिला कला संस्था के निदेशक श्री वीरेंद्र प्रसाद , ललित कला अकादमी की सचिव श्रीमती निवेदिता राय, सभी कलाकारों एवं अन्य गणमान्य अतिथियों की उपस्थिति में दीप प्रज्वल्लित कर किया गया ।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए अपर मुख्य सचिव, श्रीमती हरजोत कौर बम्हरा ने कहा कि आज का कार्यक्रम एक बहुत ही सकारात्मक पहल है और अपनी तरफ का अनूठा है । बिहार में पहली बार है कि दिव्यांग कलाकारों के द्वारा बनाई गई मिथिला पेंटिंग की प्रदर्शनी लगाई जा रही है । जिन कलाकारों की प्रदर्शनी लगी है उन्होंने अपनी शारीरिक क्षमताओं को अपने कला के सफ़र में आड़े नहीं आने दिया ।
उन्होंने कहा कि आदमी अपने मन से या अपने दिमाग से कमजोर होता है इसीलिए आप पाएंगे की बहुत से लोग सब कुछ होते हुए भी कुछ नहीं कर पाते हैं या अपने जो अंदर प्रतिभा या जो कला छुपी हुई है या जो हुनर छुपा हुआ है उसको आगे बढ़ने का मौका नहीं दे पाए । श्रीमती कौर ने कहा कि सबसे ज्यादा जरूरत है अपनी क्षमता को पहचानने की और उसके बाद यह जानने की दुनिया में कोई भी चीज असंभव नहीं है अगर आप उसको करना चाहे तो वह संभव है । कार्यक्रम के बाद कला दीर्घा का उद्घाटन किया गया ।
कार्यक्रम के दौरान श्री वीरेंद्र प्रसाद, ने कहा कि इस आयोजन के माध्यम से प्रतिभावान दिव्यांग कलाकारों के लिए एक मंच उपलब्ध होगा, साथ ही उनकी कलाकृतियों की बिक्री के माध्यम से उनके आर्थिक सशक्तिकरण के अवसर भी उपलब्ध होंगे ।
ललित कला अकादमी की सचिव श्रीमती निवेदिता राय ने कलाकारों की पेंटिंग की सराहना करते हुए कहा कि इस आयोजन के जरिए आम लोगों को बिहार के दिव्यांग लोक कलाकारों की सुंदर बहुआयामी और विशिष्ट कला प्रतिभा से रूबरू होने अवसर प्राप्त होगा । कार्यक्रम के दौरान प्रदर्शनी का शुभारम्भ किया गया । यह प्रदर्शनी 30 नवम्बर तक चलेगी ।

By anandkumar

आनंद ने कंप्यूटर साइंस में डिग्री हासिल की है और मास्टर स्तर पर मार्केटिंग और मीडिया मैनेजमेंट की पढ़ाई की है। उन्होंने बाजार और सामाजिक अनुसंधान में एक दशक से अधिक समय तक काम किया। दोनों काम के दायित्वों के कारण और व्यक्तिगत रूचि के लिए भी, उन्होंने पूरे भारत में यात्राएं की हैं। वर्तमान में, वह भारत के 500+ में घूमने, अथवा काम के सिलसिले में जा चुके हैं। पिछले कुछ वर्षों से, वह पटना, बिहार में स्थित है, और इन दिनों संस्कृत विषय से स्नातक (शास्त्री) की पढ़ाई पूरी कर रहें है। एक सामग्री लेखक के रूप में, उनके पास OpIndia, IChowk, और कई अन्य वेबसाइटों और ब्लॉगों पर कई लेख हैं। भगवद् गीता पर उनकी पहली पुस्तक "गीतायन" अमेज़न पर बेस्ट सेलर रह चुकी है।

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